मणिपुर में फिर धधकने लगी आग, CRPF के 2000 जवानों को तैनात किया, तीन जिलों में निषेधाज्ञा लागू

अभिषेक शर्मा

10 Sep 2024 (अपडेटेड: Sep 10 2024 8:13 PM)

Manipur controversy: मणिपुर में एक बार फिर से अशांति फैलने लगी है. कुछ दिनों की शांति के बाद यहां फिर से हिंसा की आग धधकने लगी है. सुरक्षा के मद्देनजर CRPF ने यहां 2000 जवानों की तैनाती की है. यहां छात्र आंदोलन भी भड़का है, जिसकी वजह से तीन जिलोंं में निषेधाज्ञा लागू की गई है.

Curfew imposed in Imphal East and West districts amid law and order concerns

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न्यूज़ हाइलाइट्स

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मणिपुर में एक बार फिर से अशांति फैलने लगी है.

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कुछ दिनों की शांति के बाद यहां फिर से हिंसा की आग धधकने लगी है.

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सुरक्षा के मद्देनजर CRPF ने यहां 2000 जवानों की तैनाती की है.

Manipur controversy: मणिपुर में एक बार फिर से अशांति फैलने लगी है. कुछ दिनों की शांति के बाद यहां फिर से हिंसा की आग धधकने लगी है. सुरक्षा के मद्देनजर CRPF ने यहां 2000 जवानों की तैनाती की है. यहां छात्र आंदोलन भी भड़का है, जिसकी वजह से तीन जिलोंं में निषेधाज्ञा लागू की गई है.

सीआरपीएफ ने यहां जातीय संघर्ष की संभावनाओं को देखते हुए सुरक्षा ड्यूटी के लिए सीआरपीएफ की दो नई बटालियन की तैनाती यहां पर कर दी है. इन दो बटालियन में करीब 2000 जवानों की तैनाती की गई है.

सीआरपीएफ के सूत्रों के अनुसार एक बटालियन को मणिपुर के कांगवई (चुराचांदपुर) जबकि दूसरी बटालियन को इंफाल के आसपास तैनात किया जाएगा. आपको बता दें कि पिछले साल मई से जातीय संघर्ष जारी है, जिसमें 200 से अधिक लोगों की जान अब तक जा चुकी है. जातीय संघर्ष में यहां बीते दिनों कुछ क्षेत्रों में ड्रोन और रॉकेट हमले भी किए गए हैं, जिसकी जांच-पड़ताल लगातार की जा रही है.

छात्र भी कर रहे उग्र आंदोलन, तीन जिलों में लग गया कर्फ्यू

मणिपुर में छात्र संगठन भी उग्र आंदोलन कर रहे हैं. मणिपुर में छात्रों द्वारा राज्य सरकार के पुलिस महानिदेशक और सुरक्षा सलाहकार को हटाने की अपनी मांग को लेकर अपने प्रदर्शन तेज कर रहे हैं. छात्रों का आरोप है कि डीजीपी और सुरक्षा सलाहकार राज्य में कानून-व्यवस्था की स्थिति को संभालने में असमर्थ हैं. इसकी वजह से राज्य के तीन जिलों में कर्फ्यू लगा दिया गया. इंफाल पूर्व और पश्चिम जिलों में लोगों को अपने घरों से बाहर निकलने से रोकने के लिए अनिश्चितकालीन कर्फ्यू लगा दिया गया है, जबकि थौबल में भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (बीएनएसएस) की धारा 163 (2) के तहत निषेधाज्ञा लागू कर दी गई है.

पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार छात्र नेता चौधरी विक्टर सिंह ने मंगलवार सुबह संवाददाताओं से कहा, 'हमने राज्यपाल लक्ष्मण प्रसाद आचार्य को अपनी छह मांगों पर जवाब देने के लिए 24 घंटे की समयसीमा दी है. समयसीमा समाप्त होने के बाद हम अपनी कार्रवाई के बारे में फैसला करेंगे.' बीते सोमवार को मणिपुर सचिवालय और राजभवन के सामने विरोध प्रदर्शन किया और हाल ही में हुए ड्रोन एवं मिसाइल हमलों के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की.

इंटरनेट सेवाओं को राज्य में किया 5 दिन के लिए निलंबित

मणिपुर सरकार ने छात्रों के उग्र आंदोलन के बीच मंगलवार को पूरे राज्य में इंटरनेट सेवा पांच दिन के लिए निलंबित कर दी हैं. राज्य सरकार ने इसके पीछे तर्क दिया है कि यह निर्णय तस्वीर, नफरती भाषण और नफरती वीडियो के प्रसार को सोशल मीडिया पर रोकने के लिए लिया गया है.

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