Maharashtra News: महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने सोमवार शाम को नागपुर( Nagpur) में हुई हिंसा के पीछे विक्की कौशल की फिल्म 'छावा' को जिम्मेदार ठहराया है. देवेंद्र फडणवीस ने मंगलवार के महाराष्ट्र विधानसभा में दंगे पर बोलते हुए इसे पूर्व नियोजित बताया. उन्होंने कहा कि 'छावा' फिल्म ने औरंगजेब के खिलाफ लोगों के गुस्से को भड़का दिया है. फिर भी, सभी को महाराष्ट्र में शांति बनाए रखनी चाहिए.
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सीएम फडणवीस ने कहा- वास्तव में, मैं आज महाराष्ट्र के किसी भी सिनेमा को दोष नहीं देता. दरअसल, फिल्म छावा ने छत्रपति संभाजी महाराज का सच्चा इतिहास हमारे सामने ला दिया, लेकिन उसके बाद से राज्य में लोगों की भावनाएं भी काफी हद तक भड़क उठी हैं. औरंगजेब के प्रति जो गुस्सा है, वह भी बड़ी संख्या में सामने आ रहा है.
ध्यान देने वाली बात है कि विक्की कौशल अभिनीत फिल्म 'छावा' (Chhava) छत्रपति संभाजी के बायोपिक पर आधारित है. सीएम ने यह भी कहा कि भीड़ ने कुछ खास घरों और प्रतिष्ठानों को निशाना बनाया है. यह सब एक साजिश की तरह लग रहा है.
मुख्यमंत्री ने बताया कि नागपुर हिंसा में 12 दोपहिया वाहन क्षतिग्रस्त हो गए हैं. घटना स्थल पर 80 से 100 लोगों का जमावड़ा हुआ था. हिंसा की गंभीरता का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि एक क्रेन और दो जेसीबी समेत चार पहिया वाहनों को जलाया दिया गया. इसके अलावा, कुछ लोगों पर तलवार से भी हमला किया गया.
33 पुलिसकर्मी समेत 3 DCP घायल
CM देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि हिंसा के दौरान 33 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं. इनमें से 3 डीसीपी स्तर के अधिकारी शामिल हैं. इसके साथ ही 5 आम नागरिकों पर भी हमले हुए हैं. एक पुलिसकर्मी पर तो कुल्हाड़ी से भी हमला किया गया था. इस पूरी घटना के संबंध में 5 केस दर्ज किए गए हैं. सुरक्षा व्यवस्था को देखते हुए 11 पुलिस स्टेशन क्षेत्रों में कर्फ्यू लगाया गया है. कानून-व्यवस्था को बनाए रखने के लिए एसआरपीएफ की 5 टुकड़ियां तैनात की गई हैं.
मुंबई पुलिस के मुताबिक अगले आदेश तक कर्फ्यू लागू रहेगा. एएनआई की रिपोर्ट के अनुसार कोतवाली, गणेशपेठ, लकड़गंज, पचपावली और शांतिनगर के अलावा सक्करदरा, नंदनवन, इमामवाड़ा, यशोधरा नगर और कपिल नगर पुलिस स्टेशनों में भी कर्फ्यू लगाया गया है.
क्या है पूरा मामला?
17वीं सदी के मुगल बादशाह औरंगजेब की कब्र को हटाने के लिए सोमवार को महाराष्ट्र में हिंदू संगठनों ने प्रदर्शन किया. बताया जा रहा है कि एक अफवाह फैली और बवाल मच गया. अफवाह के साथ एक वीडियो भी वायरल हुआ. इसमें विश्व हिंदू परिषद ने गोबर के कंडों से भरा एक हरे रंग का कपड़ा जला दिया और इसे औरंगजेब की प्रतीकात्मक कब्र बताई गई. अफवाह फैली कि हरे रंग के कपड़े पर धार्मिक चिन्ह था जिसे जलाया गया.
इसके बाद शाम 7:30 बजे के करीब नागपुर के महाल इलाके में हिंसा भड़क गई. अचानक पथराव और तोड़फोड़ शुरू हो गई. दंगाइयों ने दर्जनों गाड़ियां को आग के हवाले कर दिया. इस दौरान मौके पर पहुंची पुलिस पर भी हमला किया गया. डीसीपी पर कुल्हाड़ी से वार किया गया जिससे वे घायल हो गए. बड़ी मशक्कत से हिंसा पर काबू पाया जा सका. मामले में 47 लोगों को हिरासत में लिया गया है. सीसीटीवी की मदद से उपद्रवियों की पहचान की जा रही है.
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