पंजाब: गांव स्तर पर खेल प्रतिभाओं को बढ़ावा देने के लिए भगवंत सिंह मान सरकार की यूनीक पहल

News Tak Desk

14 Nov 2024 (अपडेटेड: Nov 14 2024 7:08 PM)

पंजाब सरकार ने पहले चरण में 260 खेल नर्सरियां स्थापित करने की योजना बनाई है. पहले यह संख्या 205 थी, लेकिन खिलाड़ियों और जनता की मजबूत मांग के बाद इसे बढ़ाया गया है.

तस्वीर: न्यूज तक.

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न्यूज़ हाइलाइट्स

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‘खेडां वतन पंजाब दियां’ के वार्षिक आयोजन में पैरा स्पोर्ट्स को भी किया गया शामिल.

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पंजाब के पैरा एथलीट ने इस साल पेरिस पैरालिंपिक्स में भी हिस्सा लिया है.

पंजाब में खेलों को बढ़ावा देने और उसका दायरा गांवों तक पहुंचाने के लिए ‘खेडां वतन पंजाब दियां’ का आयोजन किया जा रहा है. साथ ही गांव स्तर पर खेल प्रतिभाओं को प्रशिक्षण देने के लिए खेल नर्सरियों की स्थापना भी पंजाब सरकार की नई खेल नीति का हिस्सा है.

पहली बार ‘खेडां वतन पंजाब दियां’ के वार्षिक आयोजन में पैरा स्पोर्ट्स को भी शामिल किया गया है, जिसमें एथलेटिक्स, बैडमिंटन और पावरलिफ्टिंग जैसे खेल शामिल हैं. पंजाब के पैरा एथलीट ने इस साल पेरिस पैरालिंपिक्स में भी हिस्सा लिया है. इसे राज्य के लिए गर्व की बात समझा जा रहा है. 

पहले चरण में बनेंगी 260 खेल नर्सरियां 

पंजाब सरकार ने पहले चरण में 260 खेल नर्सरियां स्थापित करने की योजना बनाई है. पहले यह संख्या 205 थी, लेकिन खिलाड़ियों और जनता की मजबूत मांग के बाद इसे बढ़ाया गया है. नई खेल नीति के अनुसार, हर 4-5 किमी की दूरी पर एक खेल नर्सरी स्थापित की जा रही है ताकि अधिक से अधिक युवा खेलों से जुड़ सकें.

1,000 नर्सरियों का लक्ष्य 

2024-25 के भीतर पंजाब के सभी जिलों में कुल 1,000 खेल नर्सरियों की स्थापना की जाएगी. जिसके लिए 50 करोड़ रुपये का बजट आवंटित किया गया है. 

खिलाड़ियों के लिए नकद पुरस्कार 

सरकार ने राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले खिलाड़ियों को भी प्रोत्साहित किया है. इसके तहत पेरिस ओलंपिक में ब्रॉन्ज मेडल जीतने वाली भारतीय हॉकी टीम के आठ खिलाड़ियों को पंजाब सरकार ने 1 करोड़ रुपये का नकद पुरस्कार दिया है. यह कदम खिलाड़ियों को प्रोत्साहित करने और राज्य में खेलों की पुरानी धरोहर को पुनर्जीवित करने के लिए उठाया गया है. 

खेल और युवा सेवाओं के लिए बजट आवंटन 

पंजाब सरकार ने 2024-25 के बजट में खेल और युवा सेवाओं के लिए 272 करोड़ रुपये आवंटित किए हैं. यह सरकार की उस नीति को दर्शाता है जिसमें खेलों के माध्यम से राज्य के युवाओं को सशक्त बनाने पर जोर दिया जा रहा है. पंजाब सरकार के ये प्रयास राज्य में खेलों की एक नई क्रांति का संकेत देते हैं. ‘खेडां वतन पंजाब दियां’ जैसे कार्यक्रमों और खेल नर्सरियों की स्थापना के माध्यम से राज्य सरकार ने खेलों के प्रति जागरूकता बढ़ाने और युवाओं को आगे बढ़ने का अवसर प्रदान किया है. 

सरकार के ये कदम खेल संस्कृति को बढ़ावा देने और राज्य में खेलों के पुराने गौरव को फिर से स्थापित करने की दिशा में मील का पत्थर साबित हो रहे हैं. पंजाब सरकार की इस नीति में खिलाड़ियों को आवश्यक संसाधनों के साथ-साथ विशेषज्ञ कोचिंग प्रदान करने का भी प्रावधान है. सरकार का मानना है कि इससे राज्य के युवा खिलाड़ियों को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनी प्रतिभा को प्रदर्शित करने का अवसर मिलेगा.

साथ ही, राज्य के स्कूल और कॉलेज स्तर पर भी खेलों को पाठ्यक्रम का अनिवार्य हिस्सा बनाने की योजना की गई है, जिससे खेलों के महत्व को समझने में मदद मिलेगी. भगवंत सिंह मान सरकार की इस नई खेल नीति से पंजाब में खेलों के स्वर्णिम युग की वापसी की उम्मीद की जा रही है.

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