Maharashtra Politics: NCP (शरद पवार) गुट के नेता जयंत पाटिल ने गुरुवार को प्रेस कॉन्फ्रेस करते हुए अजित पवार की पार्टी एनसीपी के साथ गठबंधन को लेकर अपनी पार्टी का रुख स्पष्ट कर दिया. उन्होंने कहा कि अजित पवार के नेतृत्व वाली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के साथ गठबंधन का कोई सवाल ही नहीं है. पाटिल ने कहा कि हाल ही में हुए आम चुनाव में उनकी पार्टी को जनता से खूब समर्थन मिला है.
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शरद पवार गुट की पार्टी ने लोकसभा चुनाव 2024 में 10 सीटों पर चुनाव लड़ा था जहां उन्हें आठ सीटों पर जीत हासिल हुई है. वहीं अजित पवार की पार्टी ने विभाजन के बाद पहली बार कोई चुनाव लड़ा जहां उन्हें सिर्फ एक सीट (रायगढ़) पर जीत मिली. अजीत पवार की पार्टी को बारामती और शिरूर में हार मिली.
'गठबंधन का सवाल ही पैदा नहीं होता'
शरद पवार गुट के नेता जयंत पाटिल ने कहा कि 'एनसीपी दो धड़ों में बंट गई है, दोनों ही पार्टी के सिंबल भी अलग हो गए हैं. इसलिए ही दोनों के बीच गठबंधन होने का सवाल ही पैदा नहीं होता है.'
फडणवीस पर क्या बोले पाटिल?
इकोनॉमिक टाइम्स में छपे एक लेख के मुताबिक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान जयंत पाटिल से उनकी पार्टी के सहयोगी और राज्य के पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के खिलाफ आरोपों के बारे में सवाल किया गया. पाटिल ने जवाब में कहा कि वरिष्ठ भाजपा नेता को इस तरह की राजनीति में शामिल नहीं होना चाहिए. अनिल देशमुख ने देवेंद्र फडणवीस पर आरोप लगाया था कि डिप्टी सीएम ने 'तीन साल पहले उन्हें उद्धव ठाकरे, आदित्य ठाकरे, अनिल परब और अजित पवार के खिलाफ झूठे आरोप लगाकर एफिडेविट करने के लिए कहा था.'
मराठा आरक्षण में देरी पर शिंदे सरकार पर भड़के पाटिल
जयंत पाटिल ने मराठा आरक्षण पर देरी होने पर महाराष्ट्र के सीएम एकनाथ शिंदे पर भी हमला बोला. इसके अलावा जब उनसे अन्य पिछड़ा वर्ग के तहत मराठों को कोटा देने की मांग पर उनकी पार्टी के रुख के बारे में पूछा गया तो उन्होंने इसपर जवाब देने से इनकार कर दिया.
पाटिल ने यह भी कहा कि शिंदे सरकार 23 जुलाई को संसद में पेश किए गए केंद्रीय बजट में महाराष्ट्र को लाभ दिलाने में विफल रही है. पाटिल ने महाराष्ट्र सरकार और उसके सहयोगियों पर हमला करते हुए कहा कि महाराष्ट्र के सत्तारूढ़ गठबंधन का केंद्र सरकार पर कोई प्रभाव नहीं था और वे बजट में धन बंटवारे में अन्याय के खिलाफ खड़े नहीं हुए. आंध्र प्रदेश और बिहार जैसे राज्यों ने अधिक धन प्राप्त करने के लिए केंद्र पर दबाव डाला और सफलता हासिल. पाटिल ने दावा किया कि दोनों राज्यों ने केंद्र सरकार को ब्लैकमेल किया और अपने राज्यों के लिए अधिक धन प्राप्त किया.
राज्य में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर भी संदीप पाटिल ने अपनी प्रतिक्रिया दी और कहा कि अक्टूबर में होने वाले राज्य विधानसभा चुनावों में कांग्रेस को 288 में से 170 सीटें चुनाव लड़ने के लिए मिल सकती हैं.
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