Jaipur: जयपुर में लोकदेवता वीर तेजाजी मंदिर की मूर्ति तोड़ने की घटना के आरोपी सिद्धार्थ सिंह को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है. पुलिस पूछताछ में आरोपी ने अपना जुर्म कबूल कर लिया और आर्थिक तंगी के चलते खुद को मानसिक पीड़ित बताया. शुरूआती जांच में पता चला है कि घटना के वक्त आरोपी शराब के नशे चूर था और आर्थिक तंगी का भगवान पर ठीकरा फोड़ते हुए उन्हें पहले खूब खरी खोटी भी सुनाई और उसके बाद गुस्से में आकर मूर्ति को खंडित कर दिया.
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डीसीपी तेजस्विनी गौतम ने बताया कि घटना के बाद मंदिर के सीसीटीवी फुटेज खंगाले गए, जिसमें एक संदिग्ध की कार नजर आई. कार के नंबर के आधार पर पुलिस की टीमें कार मालिक सिद्धार्थ सिंह तक पहुंची. तब पुलिस पूछताछ में सिद्धार्थ सिंह ने मूर्ति तोडना स्वीकार किया, जिसके बाद पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया.
रेस्टोरेंट मालिक है आरोपी
पुलिस पूछताछ में आरोपी सिद्धार्थ सिंह ने बताया कि उसका राजापार्क में तमस कैफे नाम से एक रेस्टोरेंट था, जिसमें वित्तीय संकट चल रहा है. जिसकी वजह से वो मानसिक रूप से परेशान था, जो अभी वर्तमान में बंद चल रहा है. बीते 28 मार्च को वो अपने दोस्त डेनियल के पास होटल इन्टर कोन्टीनेन्टल टोंक रोड मिलने गया और दोस्त के साथ शराब पीने की डिमांड की. हालांकि उसके दोस्त ने उसे समझाया लेकिन परेशानी में होने का हवाला देकर बाद में दोनों ने मिलकर काफी शराब पी ली.
नशे में उठाया कदम
इसके बाद नशे में सिद्धार्थ अपनी कार से राजापार्क अपने घर निकल गया. लेकिन रास्ते में उसे कुत्ते दिखाई दिये तो वो उनके साथ खेलने लग गया. तभी पास में ही उसे मन्दिर दिखाई दिया तो वहां पर रुक गया. इसके बाद वो आर्थिक घाटे को लेकर भगवान को कोसने लगा. इसके बाद अचानक रात करीब 3.18 बजे अपने मोबाइल में मन्दिर की फोटो खींची और अचानक तैश में आकर नशे की हालत में उसने मूर्तियों में तोड़फोड कर दी. उसके बाद वो कार में बैठा और घर चला गया. फिर सुबह उपजे तनाव के बारे में उसकी मंगेतर ने उसे बताया तो खुद की गलती स्वीकार की. अब पुलिस पूरे मामले को शांत करवा आरोपी से पूछताछ कर रही है. वही पूरे प्रकरण के बाद उपजे तनाव मामले में भी पुलिस ने कई प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया है.
क्या है पूरा मामला
आपको बता दें बीते दिन जयपुर के सांगानेर क्षेत्र के प्रतापनगर सेक्टर-3 में वीर तेजाजी महाराज की मूर्ति को असामाजिक तत्वों द्वारा क्षतिग्रस्त किए जाने की घटना सामने आई थी. इससे स्थानीय लोगों में भारी आक्रोश फैल गया था, जिसके नतीजे में उन्होंने जयपुर-टोंक रोड पर जाम लगाया गया, बाजार बंद करवाए और टायर जलाकर विरोध प्रदर्शन किया गया. हालात को नियंत्रित करने के लिए भारी पुलिस बल तैनात किया गया. इसके बाद पुलिस ने आरोपी की कई टीमें गठित कर तलाश की.
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