‘हम तो डूबे हैं सनम, तुम्हें भी ले डूबेंगे’...क्या बिहार चुनाव में RJD के लिए सिरदर्द बनेगी कांग्रेस?
Bihar Politics: दिल्ली विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने जीत का परचम लहरा दिया और पूरे 27 साल बाद दिल्ली की सत्ता को काबू में किया. जीत दिल्ली में हुई लेकिन हलचल बिहार में बढ़ गई. बिहार में इसी साल विधानसभा के चुनाव होने हैं. ऐसे में बीजेपी की जीत ने बिहार में विपक्ष की टेंशन तो बढ़ाई ही साथ ही साथ...बिहार चुनाव की पटकथा लिखनी भी शुरु कर दी है.
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Bihar Politics: दिल्ली विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने जीत का परचम लहरा दिया और पूरे 27 साल बाद दिल्ली की सत्ता को काबू में किया. जीत दिल्ली में हुई लेकिन हलचल बिहार में बढ़ गई. बिहार में इसी साल विधानसभा के चुनाव होने हैं. ऐसे में बीजेपी की जीत ने बिहार में विपक्ष की टेंशन तो बढ़ाई ही साथ ही साथ...बिहार चुनाव की पटकथा लिखनी भी शुरु कर दी है. पीएम मोदी का वो एक बयान, जिसमें उन्होंने कांग्रेस पर निशाना साधा और परजीवी कहते हुए ये कह दिया की कांग्रेस न सिर्फ खुद डूब रही है, बल्कि अपने सहयोगियों को भी डुबो रही है.
अब पीएम मोदी के इस बयान के बाद हलचल तेज हो गई. वहीं सवाल ये उठने लगे की क्या बिहार में आरजेडी तेजस्वी को मोदी अपने बयान से सलाह दे रहे थे या फिर बीजेपी की जीत की पटकथा लिख रहे हैं? पीएम मोदी का बयान ये महज एक बयान नहीं है ये विपक्ष के वोटों में बिखराव वाली रणनीति है. इसको ऐसे समझिए की दिल्ली में कांग्रेस शून्य पर आउट हो गई है. लेकिन उसके वोटर आम आदमी पार्टी (AAP) की हार के लिए बड़ा कारण बन गए. अरविंद केजरीवाल से लेकर आम आदमी पार्टी (आप) के कई दिग्गज नेता दिल्ली विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को मिले वोटों के अंतर से भी कम अंतर से हारे.
कांग्रेस ने दिल्ली से बिहार में दे दिया मैसेज
आम आदमी पार्टी के शीर्ष नेताओं में हारने वालों में अरविंद केजरीवाल (नई दिल्ली), मनीष सिसोदिया (जंगपुरा), सौरभ भारद्वाज (ग्रेटर कैलाश) समेत कई ऐसे नाम शामिल हैं. ऐसी सीट शामिल है जहां कांग्रेस को बीजेपी के जीत के अंतर से ज़्यादा वोट मिले, जिससे नतीजे प्रभावित हुए, जिसके बाद से अब इस बात की चर्चा शुरु हो गई की कांग्रेस क्षेत्रीय दलों के लिए जरूरी और मजबूरी के रूप में उभरी है. जो यह नहीं समझेगा उसके लिए कांग्रेस ‘हम तो डूबे हैं सनम, तुम्हें भी ले डूबेंगे’ वाली कहावत चरितार्थ कर देगी...और पीएम मोदी के बयान के बाद से यही चर्चा छिड़ी की अगर बिहार में भी कांग्रेस को लेकर आरजेडी कोई अनदेखी करती है तो उन्हें भी नुकसान का सामने करना पड़ सकता है.
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दिल्ली चुनाव के बाद सबक लेगी आरजेडी
सवाल अब दिल्ली चुनाव के बाद बिहार चुनाव का है. लोकसभा चुनाव तक इंडिया गठबंधन की चर्चा करने वाले आरजेडी नेता अब बिहार में कांग्रेस और गठंबंधन को लेकर बहुत नाप तौल कर बयान देते नजर आ रहे थे. वहीं अब कांग्रेस ने दिल्ली से लालू यादव और तेजस्वी यादव को एक तरह से साफ-साफ संकेत भी दे दिया है कि अगर कांग्रेस महागठबंधन के बंधन से बाहर निकली तो 2020 विधानसभा चुनाव की तरह RJD 'चिराग पासवान' की तरह बिहार में साबित हो सकती है.
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