क्या पोस्टल वोट में मध्य प्रदेश की 199 सीटों पर आगे है कांग्रेस? दिग्विजय सिंह ने किया बड़ा दावा

NewsTak

• 02:33 PM • 04 Dec 2023

MP Election: कांग्रेस को मिली हार के बाद अब पूर्व मुख्यमंत्री और पार्टी के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने एक अलग ही दावा किया है.

क्या पोस्टल वोट में मध्य प्रदेश की 199 सीटों पर आगे है कांग्रेस? दिग्विजय सिंह ने किया बड़ा दावा

क्या पोस्टल वोट में मध्य प्रदेश की 199 सीटों पर आगे है कांग्रेस? दिग्विजय सिंह ने किया बड़ा दावा

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Madhya Pradesh election result: मध्य प्रदेश में कांग्रेस को मिली हार के बाद अब पूर्व मुख्यमंत्री और पार्टी के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने एक अलग ही दावा किया है. दिग्विजय सिंह ने चुनावों के दौरान कांग्रेस और भारतीय जनता पार्टी (BJP) को मिले पोस्टल वोट का आंकड़ा ट्वीट किया है. इस ट्वीट में दिग्विजय सिंह ने दावा किया है कि पोस्टल वोट में कांग्रेस को 199 सीटों पर बढ़त मिली है. उन्होंने बकायदा सीट के हिसाब से पोस्टल वोटों के आंकड़े भी शेयर किए हैं.

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चुनाव आयोग के अंतिम आंकड़ों के मुताबिक मध्य प्रदेश की 230 विधानसभा सीट में बीजेपी को 163 सीटों पर जीत मिली है. कांग्रेस के खाते में 66 और अन्य को एक सीट मिली है. चुनाव परिणाम आने से पहले दिग्विजय सिंह समेत तमाम कांग्रेस नेताओं ने दावा किया था कि उनकी पार्टी की सीट 130 से कम नहीं होगी. अब जबकि चुनाव में हार हो गई है, तो भी कांग्रेस नेता अपना क्लेम छोड़ने को तैयार नहीं दिख रहे हैं.

क्या लिखा दिग्विजय सिंह ने?

दिग्विजय सिंह ने अपने ट्वीट में लिखा है, ‘Postal ballots के ज़रिए कांग्रेस को वोट देनेवाले और हम पर भरोसा जतानेवाले सभी मतदाताओं का धन्यवाद! तस्वीरों के आँकड़ों में एक प्रमाण है जो यह बताता है कि पोस्टल बैलेट के ज़रिए हमें यानी कांग्रेस को 199 सीटों पर बढ़त है. जबकि इनमें से अधिकांश सीटों पर ईवीएम काउंटिंग में हमें मतदाताओं का पूर्ण विश्वास न मिल सका. यह भी कहा जा सकता है कि जब तंत्र जीतता है तो जनता (यानी लोक) हार जाती है. हमें गर्व है कि हमारे ज़मीनी कार्यकर्ताओं ने जी जान से कांग्रेस के लिए काम किया और लोकतंत्र के प्रति अपने विश्वास को पुख़्ता किया.’

क्या होता है पोस्टल वोट?

पोस्टल वोट या डाक मत पत्र ऐसे लोगों के लिए जारी किए जाते हैं, जो नौकरी की वजह से अपने चुनाव क्षेत्र में वोटिंग नहीं कर पाते. इस सुविधा का लाभ 80 साल से अधिक उम्र के बुजुर्ग वोटर और दिव्यांग वोटर भी उठा सकते हैं. पोस्टल वोटों की संख्या चुनाव आयोग पहले ही तय कर लेता है. इसलिए सिर्फ उन्हें ही ये सुविधा मिलती है, जो पहले आवेदन कर चुके होते हैं और जिनके आवेदन की पुष्टि यानी वैलिडेशन हो चुका होता है.

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