Kisan Andolan: पंजाब-हरियाणा के शंभू बॉर्डर से किसान आज दिल्ली कूच पर निकल रहे है. किसान गैस मास्क और आंखों में गॉगल्स लगा कर आगे बढ़ने की तैयारी में है ताकि आंसू गैस के गोले से बचा जा सके. किसान जूट की बोरियां भी लिए हुए है जिससे गैस के गोलों को निष्क्रिय किया जा सके. पिछले दिनों केंद्र सरकार से अपनी मांगों पर हुई बातचीत के विफल हो जाने के बाद किसानों ने आज यानी 21 फरवरी को दिल्ली कूच करने की घोषणा की थी. दूसरी तरफ सरकार ने भी किसानों को रोकने के लिए अपनी कमर कसी हुई है. शंभू बॉर्डर पर हरियाणा पुलिस, RAF के साथ ही केन्द्रीय रिजर्व फोर्सेस की तैनाती की गई है. सरकार किसी भी हाल में किसानों को दिल्ली नहीं आने देना चाहती है. हालांकि इन सब के बाद भी किसान दिल्ली आने पर अड़े हुए है.
ADVERTISEMENT
किसान अपने साथ बैरिकेडिंग तोड़ने के लिए अपने साथ मोडिफाइड बुलडोजर, जेसीबी, पोकलेन, हाइड्रा और अर्थमूविंग जैसी शक्तिशाली भारी मशीनों के साथ आगे बढ़ रहे है. किसान इसके बदौलत बैरिकेड्स तोड़ते हुए हरियाणा में एंट्री की योजना बना रहे है. जानकारी के मुताबिक, लगभग चौदह हजार किसान पंजाब-हरियाणा के शंभू बॉर्डर पर एकत्र हुए है. किसान दिल्ली जाने के लिए 1200 ट्रैक्टर ट्रॉलियों, 300 कारों और 10 मिनी बसों का उपयोग कर रहे है.
खाली हाथ आगे बढ़ेंगे किसान, नहीं करेंगे कोई अटैक: पंढेर
‘दिल्ली चलो’ मार्च पर आज किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने कहा, ‘हमने अपनी तरफ से पूरी कोशिश की. हम बैठकों में शामिल हुए, हर बिंदु पर चर्चा हुई और अब फैसला केंद्र सरकार को लेना है. हम शांतिपूर्ण रहेंगे. प्रधानमंत्री को आगे आना चाहिए और हमारी मांगों को स्वीकार करना चाहिए. 1.5-2 लाख करोड़ रुपये सरकार के लिए कोई बड़ी रकम नहीं है.’ उन्होंने आगे कहा, हमें इन बाधाओं को हटाने और दिल्ली की ओर मार्च करने की अनुमति दी जानी चाहिए. हमने तय किया है कि कोई भी युवा किसान आगे नहीं जाएगा. सिर्फ नेता शांतिपूर्ण तरीके से आगे जाएंगे. सरकार हम पर अटैक करने को तैयार है, सरकार प्रहार करेगी तो हम खाली हाथ रहेंगे. हम किसी पर कोई अटैक नहीं करेंगे, हम अपने जवानों पर अटैक नहीं करेंगे, वो हमारे जवान है. उन्होंने यह भी कहा कि, हम सरकार से आज भी मांग करेंगे की दिल्ली से बड़ा फैसला करें. अगर आप ये घोषणा कर दे कि, MSP की गारंटी पर कानून बनाएंगे, तो ये आंदोलन तुरंत खत्म हो जाएगा.’
किसानों को नजरअंदाज कर रही सरकार: डल्लेवाल
किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने कहा, ‘हमारा इरादा किसी तरह की अराजकता पैदा करने का नहीं है. हमने पिछले साल के सात नवंबर से दिल्ली जाने का कार्यक्रम बनाया है. अगर सरकार कहती है कि, उन्हें पर्याप्त समय नहीं मिला, तो इसका मतलब है कि सरकार हमें नजरअंदाज करने की कोशिश कर रही है. ये ठीक नहीं है कि, हमें रोकने के लिए इतने बड़े-बड़े बैरिकेड लगाए गए हैं. हम शांति से दिल्ली जाना चाहते हैं, सरकार बैरिकेड हटाकर हमें जाने दे, नहीं तो हमारी मांगें मान लें. अगर वे हाथ बढ़ाएंगे तो हम भी सहयोग करेंगे. हमें धैर्य के साथ स्थिति को संभालना होगा. मैं युवाओं से अपील करता हूं कि वे नियंत्रण न खोएं.’
कमजोर नहीं है किसान
दूसरी तरफ किसानों ने यह भी कहा कि, सरकार किसानों से पंगा ना ले. हम शांति से बैठे है, इसका मतलब ये नहीं की हम डरे हुए है. वे आम लोगों से सिख किसानों को खालिस्तानी बता कर हमारे खिलाफ बातें डाल रहे है जिससे आम लोग किसानों से नफरत करें. हम अपनी मांगों के लिए आंदोलन कर रहे है, हम शांति से प्रदर्शन रहे है, तो इसका मतलब ये नहीं की किसान कमजोर है.
ADVERTISEMENT